छिपकीयों के पैरों की बनाबट अलग तरह की होती है, छिपकली के पैरों के नीचे स्थित पैर के पैड में छोटे बाल की तरह संरचनाएं होती हैं जिन्हें सैटेई कहा जाता है, जो घर्षण बलों के माध्यम से सतहों के साथ-साथ अणुओं के बीच की ताकतों, जिसे वान डेर वाल्स कहते हैं, इन छोटे संरचनाएं इतनी ताकतवर हैं कि एक पैर पर सेटे छिपकली के शरीर के वजन का 20 गुना को संभाल सकती है। इनकी संख्या काफी अधिक होती है जो आसानी से दीवारों पर चिपक जाते हैं जिनकी सहायता से छिपकली दीवारों पर आसानी से चल लेती है और गिरती भी नहीं है यही कारण है कि छिपकलियां दीवारों से गिरती नहीं हैं.
The toe pads on the underside of lizard's feet contain tiny hair-like structures called setae, which stick to surfaces through frictional forces as well as forces between molecules, called van der Waals. These tiny structures are so strong that the setae on a single foot can support 20 times the lizard's body weight.